प्राकृतिक आपदा

प्राकृतिक आपदा एक ऐसी घटना है, जो किसी क्षेत्र पर घातक असर छोड़ देती है वह प्राकृतिक आपदा कहलाती है। प्राकृतिक आपदा दिवस 13 October को पूरे विश्व मे जोश और उत्साह के साथ मनाया जाता है। प्राकृतिक आपदाएं लगभग दुनिया के सभी देशों मे होती है। 
मानव जाति के अस्तित्व में आने के बाद यह आम बात हो गई है प्राकृतिक आपदाओं मे भूकंप, बाढ़, सूखा, चक्रवात, आकाशीय बिजली, भूस्खलन आदि।

उद्देश्य

प्राकृतिक आपदा दिवस मनाने का उद्देश्य समाज के लोगों को आपदा से होने वाले ख़तरों और उसके बचाव के लिए जागरूक करना है। प्राकृतिक आपदा न्यूनीकरण के लिए अंतरराष्ट्रीय दिवस हमारे पर्यावरण में होने वाले परिवर्तनों के परिणामों के बारे मे जागरूकता बढ़ाने के लिए हर साल 13 October को मनाया जाता है। जो आपदाओं का कारण बनते हैं लाखों करोड़ों लोगों को इससे निपटने के लिए आगे आने और उनके प्रयासों के बारे मे बात करने के लिए Motivate किया जाता है, ताकि वे इस जोखिम को समझ सके जिसके कारण लोगों को जान-माल का नुक़सान हुआ है।
प्राकृतिक आपदाए

International Day for Natural Disaster Reduction - Exclusive Samachar

भूकंप

जब पृथ्वी के नीचे अचानक परिवर्तन होता है, तो उससे पृथ्वी की पपड़ी हिल जाती है। जिसके कारण भूकंप आता है। 
भूकंप के दौरान जब कंपन अधिक तेज होता है, तो पृथ्वी कांपने लगती हैं और पृथ्वी के कुछ हिस्सों मे दरारें आ जाती है। कमजोर इमारतों और घरों को भारी नुक़सान होता है। 

भूकंप के प्रभाव

भूकंप में मनुष्य तथा जीव-जंतु घायल हो सकते हैं। यहां तक कि कई  बार मर भी जाते हैं 

भूकंप से सुरक्षा व बचाव

बिजली के स्विचो को बंद कर दें।खुले मैदान मे चले जाएं। अगर खुले मैदान मे नहीं जा सकते, तो घर मे पलंग या मेज के नीचे छिप जाए। 

बाढ़

अधिक समय तक भारी वर्षा होने पर बाढ़ आ जाती है। अर्थात जब अधिक समय तक भारी या तेज वर्षा होती है, तो नदियों मे आवश्यकता से अधिक पानी हो जाता है। तो वह बाहर आ जाता है जिससे आसपास का क्षेत्र  पानी से डूब जाता है। पानी सड़कों घरों दुकानों खेतों आदि मे प्रवेश कर जाता है तथा संपति को नुकसान पहुंचाता है। बाढ़ जीवन तथा संपति दोनों को ही नष्ट कर देती हैं और लोग बेरोजगार हो जाते हैं तथा वह शहरों की ओर प्रस्थान करने लगते हैं। 

Floods - Natural Disaster - Exclusive Samachar

बाढ़ के प्रभाव

संपति और फसलों का नुक़सान।जान की हानि। 

बाढ़ से बचाव

नदियों या तटों की जल निकासी का प्रबंध। 

सूखा

सूखा तब पाया जाता हैं जब बहुत कम वर्षा हो या बिल्कुल भी वर्षा न हो। सूखे के दौरान नदियां, तालाब, कुएं व अन्य जल संसाधन सूख जाते हैं। खेती के लिए बिल्कुल भी पानी नहीं मिलता। यहां तक कि पीने का पानी भी बहुत मुश्किल मिलता है। सूखे के दौरान अनाज और पानी दोनों की ही कमी हो जाती है। 

Drought - Natural Disaster - Exclusive Samachar

सूखा से बचाव

अधिक से अधिक वृक्षारोपण करे। कृषि के लिए उचित तकनीक का उपयोग करें।बांध बनाकर वर्षा जल एकत्रित करे।

चक्रवात

चक्रवात एक ऐसी चक्रीय हवाएं होती है जो कि बहुत तेज गति से चलती है। बहुत तेज हवाएं रास्ते मे आने वाली सभी चीजों को तहस-नहस कर देती है। जैसे पेड़ों, घरों, बिजली के खंभों आदि को तहस-नहस कर देती है। चक्रवात विशेषतर समुद्र के किनारे वाले भाग मे आते हैं।

प्रभाव

चक्रवात का वायुमंडल पर बहुत बुरा प्रभाव पड़ता है।

चक्रवात से बचाव

मौसम विभाग द्वारा चक्रवात संबंधी सूचनाओ को लगातार  प्रसारित करते रहना। भवनों का निर्माण ऐसा हो कि वो तेज हवाओं को सह सकें।तटीय क्षेत्रों मे ज्यादा वृक्ष लगाएं।

how to prevent cyclones - International Day For Natural Disaster Reduction - Exclusive Samachar

भूस्खलन

जब ऊंचे पहाड़ों से घाटी मे बड़ी मात्रा मे मिट्टी तथा चट्टानें गिरती हैं, तो वह भूस्खलन कहलाता है। भूस्खलन के दौरान लोग घायल हो जाते हैं तथा कभी कभी वे मर भी जाते हैं। 

भूस्खलन का प्रभाव

आवासीय क्षेत्रों में भूस्खलन से जान-माल की हानि।वनस्पति एवं प्राणियों को हानि पहुंचाता है। 
भूस्खलन से बचाव
ज्यादा से ज्यादा पेड़ पौधे लगाएं ताकि पानी द्वारा होने वाले भू-क्षरण को रोका जा सके।

Offline Awareness

प्राकृतिक आपदा दिवस समाज के लोगों को जागरूक करने और इससे होने वाले ख़तरों के बारे मे जानकारी देने के लिए मनाया जाता है। प्राकृतिक आपदाओं के बारे मे जानकारी देने के लिए इस दिन स्कूलो और कालेजों मे‌ अलग-अलग तरह के कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। राज्य के साथ-साथ राष्ट्रीय स्तर पर भी ज्ञान दिया जाता हैं ताकि समाज के लोगों को सभी प्रकार की घटनाओं के लिए तैयार किया जा सके।    यह दिन बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है, क्योंकि दुनिया मे सभी लोगों को आत्मनिर्भर बनाने की ओर बल देता है। इससे पहले कोई भी इस आपदा का शिकार बने यह उस आपदा को भी दूर करने पर बल देता है।

Online Awareness

सरकारी और गैर सरकारी संगठनों के कर्मचारियों द्वारा इस दिन Online कार्यक्रम प्रस्तुत किए जाते हैं ताकि समाज के लोगों को जागरूक किया जा सके। Online कार्यक्रमों मे मीडिया मुख्य भूमिका निभाता है। 

प्राकृतिक आपदा न्यूनीकरण और अंतरराष्ट्रीय दिवस के महत्व को फैलाने के लिए Facebook , Twitter, Telegram व अन्य Social Sites का उपयोग किया जाता है। 

भारत

भारत एक बहुत बड़ा देश है। देश की जानकारी का उपयोग आपदा प्रबंधन के बारे मे जागरूकता फैलाने के लिए किया गया है। इस देश का योगदान बाकी दुनिया के लिए बहुत महत्वपूर्ण है, क्योंकि भारत मे आपदा की घटनाएं बाकी देशों की तुलना से अधिक होती हैं। परंतु आपदाओं से निपटने की गति बहुत धीमी है। अंतरराष्ट्रीय प्राकृतिक आपदा न्यूनीकरण दिवस पर सभी लोगों को पर्यावरण के ख़तरों से अवगत कराना। प्राकृतिक आपदाओं मे कमी लाना और आपदा प्रबंधन के तरीकों को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से स्कूलों, कालेजों मे उत्सव मनाया जाता है। जो जलवायु परिस्थितियों मे सकारात्मक बदलाव ला सकते हैं।

संयुक्त राज्य अमेरिका

संयुक्त राज्य अमेरिका मे स्कूलों और कॉलेजों के छात्रों द्वारा बड़े उत्साह के साथ प्राकृतिक आपदा दिवस मनाया जाता है। इस दिन सड़कों पर रैलिया आयोजित की जाती है।          इस दिन सरकार आपदा के ख़तरों को कम करने के तरीकों की खोज के लिए विवेकपूर्ण नागरिकों को मान्यता और छात्रवृत्ति प्रदान करती है। संयुक्त राज्य अमेरिका एक विकसित देश हैं और यहां बहुत ज्यादा प्राकृतिक आपदाएं देखने को नहीं मिलती।

चीन

दुनिया की सबसे बड़ी आबादी वाला देश चीन है। चीन मे अन्य देशों की तुलना मे प्राकृतिक आपदाएं बहुत कम होती है। परंतु चीन के लोग इस दिन प्राकृतिक आपदाओं के उत्सवों मे भाग लेते हैं। इस दिन स्कूलों और कालेजों मे कार्यक्रम के माध्यम से लोगों को जागरूक किया जाता हैं ताकि आपदाओं के दौरान मूल्यांकन, निकासी और राहत के महत्व के बारे मे दूसरों को समझाया जा सके। प्राकृतिक आपदा न्यूनीकरण दिवस का उद्देश्य आपदाओं के ख़तरों को रोकने, आपदाओं के परिणामों को कम करना।

थीम 2020

आपदा जोखिम को समझना, जोखिम को दूर करने मे निवेश आपदाओं का प्रबंधन और तरीके संशोधित करने पर बल देता है।    आपदा नुक़सान को कम करने, जीवन को बचाने आदि पर बल दिया जाता है।

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