अभी केरला बाढ आने के बाद उसी स्थिति से उभर नहीं पाया था कि फिर दक्षिण प्रायद्वीपीय भारत के पास अरब सागर में सीज़न का पहला चक्रवाती तूफान फानी विकसित हो गया है। मौसम विभाग के मुताबिक यह तूफान राज्य में भारी नुकसान पहुंचा सकता है। प्रशासन ने तटवर्ती जिलों में अलर्ट जारी किया है।

 

तमिलनाडु और केरल में भारी बारिश और लक्षद्वीप में भी चक्रवाती तूफान का अलर्ट जारी किया गया है।

 

मौसम विभाग के मुताबिक अगले 24 घंटे के दौरान तमिलनाडु और केरल में भारी बारिश के साथ 90 से 100 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तूफानी हवाएं भी चलेंगी। वहीं, लक्षद्वीप में  40 से 50 किलोमीटर प्रति घंटे की तेज़ हवाएं और आंधी तूफान आने की संभावना है।

 

भारत मौसम विज्ञान विभाग ने आज रविवार को मौसम की चेतावनी जारी करते हुए कहा कि चक्रवाती तूफान फानी एक गंभीर चक्रवाती तूफान में बदल जाएगा। “30 अप्रैल तक इस तूफ़ान की उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ने की बहुत संभावना है और इसके बाद धीरे-धीरे उत्तर-पूर्व की ओर जाएगा, इस तूफ़ान के अगले 12 घंटों के दौरान एक गंभीर चक्रवाती तूफान में और बाद के 24 घंटों के दौरान अत्यंत गंभीर चक्रवाती तूफान में परिवर्तित होने की संभावना है।” मौसम विभाग ने आज जारी बुलेटिन में कहा।
इस तूफान ने अपना कहर दिखाना शुरू कर किया है। जगह-जगह पर पेड़ और होर्डिंग गिरे पड़े हैं, समुद्र में ऊंची व भयानक लहरें उठ रही हैं। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, दक्षिण भारत में इस चक्रवात को आगे बढ़ने के चलते हालात और भी ज्‍यादा खराब हो सकते हैंं। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वह अपने घरों में रहें और समुद्र तट के पास आने से बचें। मछुआरों को समुद्र में न जाने की सलाह दी गई है। बताया जाता है कि तूफान की रफ़तार तेजी से बढ़ रही हैैै, जिसके कारण प्रशासन ने अलर्ट जारी किया हुआ है।

 

बंगाल और पड़ोस के दक्षिण पूर्व खाड़ी में 80-90 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली आंधी हवा की गति प्रचलित है जिसकी 28वीं सुबह से 90-100 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से 115 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने की संभावना है; बंगाल की दक्षिण-पश्चिम खाड़ी में 29 वीं सुबह से 145 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवाओं के चलने की संभावना है।

 

तूफान की ताकत का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि कई जगह पर घर पूरी तरह से गिर चुके हैं और जगह- जगह पर पेड़ गिरे होने के कारण यातायात भी रुक गया है। हम उम्मीद करते हैं कि जल्द ही यह चक्रवात बिना किसी की जान को नुक्सान पहुंचाए खत्म हो जाए और फिर से इन सभी राज्यों में सामान्य जन जीवन शुरू हो सके।

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